हैल्लो दोस्तों, कैसे हो आप लोग। आज मै आप लोगों को अपनी एक सच्ची घटना लेकर हाजिर हुआ हुँ। जिसको पढ़कर आपलोगो को खूब आनंद आएगा और मूठ मारने पर मजबूर हो जाओगे। बात उन दिनों की है जब मेरे दोनोें बेटे हॉस्टल में रहने चले गये घर पूरा भूत बंगला सा लगने लगा। तब हमलोगों ने किरायेदार रखने को सोचा। की वो रहेंगे तो थोड़ा घर भी हराभरा रहेगा। और साग सब्जी का भी पैसा निकल जायेगा। मेरा नाम अशोक कुमार हैं। और मेरी पत्नी का नाम चंदा देवी हैं। मै करीब 48 साल का और पत्नी सिर्फ़ 35 वर्ष की देखने मे ठीक ठाक। सुंदर। चुस्त तन्दुरस्त। अभी भी किसी का लंड खड़ा कर देगी। और वो दिन आया जब लोग आते किराया पूछते और चले जाते। शायद किराया ज्यादा होने के कारण कुछ लोग भाग जाते थे। संडे का दिन था एक किरायेदार आया जो अपने को अजमगढ़ का रहने वाला बताया और यहाँ पर नौकरी करता है परिवार साथ मे रहता है।
मगर इस वक्त गर्मी की छुटी मे सब 2 महिने के लिए गांव गये है। उस किरायदार का नाम था रविन्द्र यादव। किराया पसंद आने पर उसने एक महीने का एडवांस देकर चला गया और दूसरे दिन शिफ्ट हो गया। हमलोग उनको नीचे वाली फ्लोर दे दिये की नीचे रहेगा और अपना आना जाना वहीं से करेगा और ऊपर से कोई मतलब नहीं रखेगा बस अपने गीले कपड़े ऊपर छत पर डाल सकता है। यादवजी का ब्यवहार ठीक ठाक था अब हमलोग निश्चित हो कर रहने लगे। यादवजी अहीर थे। देखने मे एक दम फिट पहलवान मजबूत शरीर का ब्यक्ति थे। संडे का दिन था यादव जी का छुटी था। मै भी उसदिन घर पर ही था दिन के करीब 10-11 बजे होंगे यादव जी नहा धो कर अपने गीले कपड़े धूप मे डालने के लिए छत पर गये तब मेरी पत्नी बाथरूम में नहा रही थी। इतीफाक से यादव जी जब अपने कपड़े डाल कर छत से नीचे आ रहे थे तब मेरी पत्नी नहा कर नंगी अपने कमरे मे जाने के लिए बाथरूम से निकली। जैसे ही यादवजी सीढ़ी से नीचे उतरे उन्होंने मेरी पत्नी को नंगी देख् लिया। यादवजी को देख् मेरी पत्नी भी ठिठक. कर रुक गयी।
और उसका रुकना और यादव जी का मेरी पत्नी का शरीर का सारा अंग – अंग देखना बड़ी बड़ी चूचियाँ। चूत पर हल्की झांटे। जैसे यादव जी के तन बदन मे आग सी लग गई हो। मेरी पत्नी लजा कर अपने कमरे मे भागी। अब यादव जी का लंड उनके तौलिये मे फुफ्कारे मारने लगी। और वो दुबारा छत पर चढ़ गये। कुछ देर के बाद मेरी पत्नी अपने कपड़े छत पर डालने गई वहा पर यादवजी को देख् कर लजा गई मै उस समय पीछे पीछे छत पर आ रहा था की अचानक यादवजी की आवाज कानों में सुनाई दी जो मेरी पत्नी से कह रहे थे की मैडम बाथरूम से कपड़े पहन कर निकला करो। अपना समान दिखा कर अपने आज तो मेरा मूड ही खराब कर दिया है। तब मेरी पत्नी उसकी बाते सुन कर मंद मंद मुस्कुरा रही थी। । मै यह सुनकर चुप चाप उनकी बाते सुनने लगा।
अचानक से यादव जी अपने दोनों हाथ उठा कर अपने तार पर टंगे कपड़े को ठीक कर ने लगे और उनका तौलिया खुल कर गिर गया। बाप रे उनका लंड था या मुशल। करीब 9″ लम्बा और 2″ मोटा लंड देख् कर मेरी पत्नी चकरा गई और यादवजी ने आनन फानन में तौलिया लपेट डाली तब मै ऊपर आया और यादव जी मुझे देख् कर मुस्कुराये। मै मामले की नजाकत को समझते हुए अपनी पत्नी से कहा चंदा जरा चाय बना देना मुझे कही जाना है पत्नी ने कहा कब तक आओगे मैने कहा करीब आधे एक घंटे मे आ जाऊंगा। फिर यादवजी भी नीचे चले गये। चाय पी कर मैने बाहर जाने लगा और मैडम को बोला नीचे का गेट बंद कर देना मै आधे एक घंटे मे आ रहा हुँ। गाड़ी स्टार्ट कर मै दोस्त से मिलने निकल पढ़ा अचानक मुझे ध्यान आया की मै अपना फोन ही भूल गया हुँ।
मै गाड़ी घुमाकर कर वापस आया और गेट का लॉक खोल कर आप रूम पर जाने लगा तभी मुझे अपने कमरे से यादवजी का आवाज सुनाई दिया जो मेरी पत्नी से कह रहे थे की मैडम जी जरा मुझको चाय की पती दे देना मैने देखा यादव जी वही तौलिया लपेटे हुए थे मेरी पत्नी ने कहा यादवजी चाय बनी हुई है अगर पीनी हो तो अंदर आ जाओ उस समय मेरी पत्नी पारदर्शी गाउन पहनी हुई थी और यादव जी ने बड़े ध्यान से मेरी पत्नी को देखा और कहा मैडमजी आप बहुत सुंदर हो और यह कह कर अंदर बैठ गया मेरी पत्नी ने चाय दी और वो चाय पीते हुए मेरी बीवी को निहार रहे थे। कुछ देर बाद मेरी बीवी ने कहा यादव जी तौलिया के नीचे कुछ पहना करो। यादव जी बोले मैडम जी आज अपने अपना सामान दिखा कर मेरा मूड खराब कर दिया है।
कह कर वो मेरी पत्नी को खींच कर अपने आगोश मे भर लिए। और अपना होंठ मेरी पत्नी के होठो से सटा कर चूमने लगे और एक हाथ से मेरी पत्नी की दोनों चूचियाँ को मसलने लगे इस अचानक से हरकत पर मेरी पत्नी को कुछ समझ नहीं आया और यादव जी के बंधन से मुक्त होने का प्रयास करने लगी मगर यादव जी के मजबूत हाथों से निकल नहीं पाई कुछ देर हाथ पैर मारने के बाद मेरी पत्नी समझ गई की यादवजी बिना चोदे छोड़ेंगे नहीं और वो भी उनका साथ देने लगी अपना हाथ उनके लंड पर रख कर सहलाने लगी। अब यादवजी भय मुक्त हो कर मेरी पत्नी को नोंचने खसोटने लगे करीब आधे घंटे तक चुमने चाटने के बाद दोनों अलग हुए। तब मेरी पत्नी ने कहा यादव जी छत पर आपका लंड देख् कर ही मेरा चूत पानी छोड़ दिया था बस मै आपका ही इन्तजार कर रही थी क्या लंड है यह कह कर मेरी पत्नी लंड मुँह मे भर कर चूसने लगती हैं।
मनभर चूसने के बाद अपने दोनों टांगो को फैला कर यादवजी को अपनी चूत चाटने को कहती है यादव जी मेरी पत्नी के बूर मे मुँह और जीभ लगा कर चूसने चाटने लगते है करीब 20 मिनट तक बूर चाटने के बाद यादव जी ने अपना लंड मेरी पत्नी की बूर के छेद मे रख कर हच से लंड पेल दिया बूर अधिक गीली हो ने के कारण लंड हच से आधे से अधिक बूर मे घुस गया। मेरी पत्नी आह ओहह। उई माँ बूर फट गयी अब यादवजी दूसरा धक्का मार कर पूरा लंड बूर के अंदर घुसेड़ दिया दर्द से पत्नी मेरी छटपटा ने लगी मगर यादवजी पर तो चोदने का भूत सवार था उन्होंने मेरी पत्नी की दोनों टांगे उठा कर अपने कंधे पर रख लिया और दबा दब चोदने लगे पूरे कमरे मे घपा घप घचर घचर फचर फचर की आवाज गुंज रही थी साथ मे मेरी पत्नी कु चीखे भी आह आह ओह ओह मर गई और जोर से यादवजी मेरी बूर फाड़ दो आज करीब आधे घंटे एक स्पीड से चोदने के बाद यादव जी ने अपना पानी मेरी बीवी की बूर मे छोड़ दिये मेरी बीवी आँखे बंद कर रसपान का मजा ले रही थी।
दोनों एक दूसरे पर पड़ कर गहरी गहरी सांसे ले रहे थे फिर यादव जी उठे तौलिया लपेटे और नीचे चले पड़े कुछ देर बाद मेरी पत्नी उठी और बाथरूम जाकर अपनी चुत धो कर सों गई अब मै अपने कमरे मे गया तो क्या देखता हूँ बीवी पुरी नंगी टांगे फैला कर गहरी सांसे ले रही थी और इसका बूर फूल कर बड़ा हो गया था और बूर मे होल बन गया था। बीवी को टांगे फैला कर सोया हुआ देख् कर मैने अपनी नाक मेरी पत्नी की बूर के छेद के पास ले कर बूर सूंघा। और जीभ लगा कर चुत को चाटने लगा गहरी नींद मे होने के कारण जब जीभ बूर से टकराया तब पत्नी मेरे बालों को पकड़ कर सहलाने लगी और निद्रा मे कहने लगी ओह यादव जी जरा जोर से चूसों। आह आह हा हां बस ऐसे ही। हाँ हां बस ऐसे ही कह कर अपना पैर फैला देती हैं और बूर से नमकीन पानी छोड़ देती है। और मै उसकी बूर की नमकीन पानी पी कर उसके बगल मे सों जाता हूं।
करीब 5-6 बजे बीवी मुझे नींद से जगाती है और चाय देती है तब मैने ध्यान से अपनी बीवी को देखा लंड खा कर बीवी का चेहरा निखर सा गया हैं रात का खाना खा कर हम दोनों जल्दी सों जाते है रात करीब 1से डेढ़ बजे मुझें कुछ फुसफुसाने की आवाज सुनाई देती है कमरे मे जीरो वाट का बल्ब जल रहा था मैने देखा मेरी पत्नी के बगल मे यादव जी लेते हुए है और मेरी बीवी के बूर मे हाथ डाल कर उसके निप्पल के मसल रहे थे फिर दोनों नीचे फर्श पर लेट जाते है अब यादवजी मेरी पत्नी के उपर् चढ़ गये और मेरि पत्नी को बांहों मे भर कर उसको पागलों की तरह चूमने चाटने लगते हैं मेरी पत्नी भी उनका पूरा पूरा साथ दे रही थी आह आह यादव जी ओह जरा जम कर होंठ चूसों यह सुन कर यादवजी पूरे जोश के साथ मेरी पत्नी की होंठ चूसने लगे और एक हाथ से चूची को मसल रहे थे व दुसरे हाथ से बूर के निप्पल मसल रहे थे।
बीवी मेरी आह आह ओह ओह कुछ देर बाद यादवजी अपना लंड मेरी बीवी के मुँह मे डाल कर चूसने को कहते हैं और मेरी बीवी लंड को मुँह मे भर कर गबा गब चूसने लगती है कुछ देर बाद यादव जी अपना लंड मुँह से निकाल कर चुत पर भिड़ा देते हैं और एक झटके से पूरा लंड चुत मे डाल कर घपा घप पेलने लगते है मेरी बीवी आह आह ओह ओह हाँ हाँ यादवजी ऐसे ही चोदो बड़ा मजा आ रहा हैं करीब एक घंटा चोदने के बाद यादवजी झड़ गये करीब 4बजे तक चुदने के बाद बस अब और नहीं यादवजी कह कर बाथरूम जाकर दोनों नहा धो कर अपने अपमरे मे सों जाते हैं सुबह जब मै उठ कर गहरी नींद मे सोई हुई पत्नी की बूर चेक करता हुँ तो यादव जी ने चुत का कबाड़ा कर दिया था।