मैं ऑर आंटी मेरे रूम मे गये ओर मैने जाते ही आंटी को बाहों मे भर लिया
आंटी-अरे अभी नही….जाना है ना…वहाँ मज़े करेगे
मैं-नही …आपको खुश तो यहीं करूगा …मेरे रूम मे…ऑर इतना बोल कर मैने आंटी को कस के बाहों मे भर लिया ऑर लिप किस करने लगा..
आंटी मेरी बाहों मे झटपटाने लगी…
आंटी-सुनो तो….आआहह..मेरी बात …उउउंम्म..सस्सुनो तो
मैने(रुक कर)-क्या ??
आंटी-ओके…लेकिन साड़ी तो निकालने दो…खराब हो जाएगी तो दूसरी शादी भी नही है
मैं(कुछ सोचकर)-वो टेन्षन मुझ पर छोड़ दो….ओर मैने फिर से आंटी के होंठो को चूसना स्टार्ट कर दिया….
अब आंटी भी मेरा साथ दे रही थी ओर देखते ही देखते आंटी मुझसे भी ज़्यादा तेज़ी से होंठो को चूसने लगी….ऐसे ही हम 5 मिनट होंठो की चुसाइ मे लगे रहे…
फिर….
मैं-आंटी, अब आगे बढ़ें…टाइम कम है
आंटी-शरमाते हुए..स्माइल दे देती है…
मैने तुरंत ही आंटी की साड़ी को निकालना चालू किया….आंटी बोलती रही कि आराम से…बट मैने 1 ना सुनी ऑर आंटी की साड़ी निकाल दी….
साड़ी निकालने के बाद आंटी स्लीव्लेस्स ब्लाउस ऑर पेटीकोटे मे थी….मैने साड़ी को 1 तरफ फेका ओर आंटी के पास जाकर फिर से किस करने लगा
आंटी भी गरम होने लग गई ऑर किस करने मे पूरा साथ देने लगी…
मैने अपने हाथ नीचे करके…होंठो को चूमते हुए आंटी के दोनो बूब्स प्रेस कर दिए
आंटी-आआहह…आराम से …
मैं-आंटी क्या बूब्स है आपके….1 हाथ मे भी नही आते ….चूसने मे मज़ा आयगा…ऑर मैं बूब दबाते हुए होंठो को चूस रहा था
आंटी-उम्म्म्ममम….तो रोका किसने है…चूस डाल…हो सकता है अब इन पर तेरा ही राज हो जाय….उम्म्म्मममम
मैने फिर बूब्स दावाना चालू किया….
थोड़ी देर तक दवाने के बाद मैने दोनो हाथो से ब्लाउज पकड़ा ऑर फाड़ डाला…जिससे आंटी चौक गई
आंटी-उम्म्म…ये क्या किया….अब मैं क्या पहनूँगी….निकाल नही सकते थे
आंटी गुस्सा थी बट मैने दूसरे ही पल आंटी की ब्रा भी वैसे ही फाड़ दी…ऑर आंटी के दोनो बड़े-2 बूब्स उछल कर बाहर आ गये
आंटी(गुस्से मे)-ये क्या है….फाड़ क्यो रहा है…मैं पहनूगी क्या
मैं अब भी चुप रहा ऑर मैने अपने हाथ आंटी के पेटिकॉट मे फसा कर उसे भी फाड़ कर अलग कर दिया…नाडा टूट गया ऑर पेटिकोट फट गया
अब आंटी का गुस्सा बढ़ गया …उन्होने मुझे पीछे धकेला ऑर बोली
आंटी-जानवर हो क्या….कपड़े फाड़ कर कोई,,,चुदाइ करता है..???
मैं-गुस्सा मत हो जान…
आंटी-गुस्सा क्यो ना होऊँ….सब कपड़े फाड़ दिए ..अब क्या पहन के जाउन्गी
मैं आंटी के पेटिकोट को नीचे करके बोला
पहले आप ये फटे हुए कपड़े निकाल के फेक दो…फिर मैं बताता हूँ
आंटी ने गुस्से मे ब्लाउस ब्रा ऑर पेटिकोट निकाल फेका ओर सिर्फ़ पैंटी मे खड़ी थी..
आंटी(गुस्से से)-अब बोलो
मैं-आंटी….आप वही ड्रेस पहन कर चलेगी जो हम लाए थे….ऑर वही ब्रा-पैंटी भी
आंटी-पर शादी के दिन क्या करूगी
मैं – उसका इंतज़ाम हो गया है
आंटी-ऑर बाकी के दिन…???
मैं- मिनी ड्रेस…जिसमे आप हॉट लगेगी
आंटी-ठीक है फिर
मैं(मन मे)-साली मान गई…लगता है इसकी फरन्ड के घर सब ऐसे ही कपड़े पहन के आने वाले होंगे
आंटी-बेटा ,,,एक बात बताओ ..तुम मुझे वैसी ही ड्रेस क्यो पहनाना चाहते हो
मैं-आप सिर्फ़ मान जाओ …वो मैं आपको बाद मे सम्झाउन्गा
आंटी-अब कर भी क्या सकते है…ठीक है पर यहाँ कोई देख ना ले…ऑर शादी के टाइम ..संभाल लेना
मैं- वो मैं संभाल लूँगा.
थोड़ी देर सोच कर आंटी बोली…
आंटी-ठीक है तुम कहते हो तो…..ओके
मैं जाकर बेड पर बैठ गया…आंटी वैसी ही खड़ी थी…
मैं-अब आ जाओ रानी
आंटी पलटी ओर मैने एक झटके से उन्हे खींच कर गोद मे बिठा लिया
आंटी-आओउउक्च्छ…आराम से
मैं(आंटी के बूब को मसल्ते हुए)- इन्हे देखने के बाद कौन कम्बख़्त आराम कर सकता है
आंटी अपने बूब्स की तारीफ़ सुन कर शरमा गई…मैने उसी समय 1 बूब को मुँह मे भर लिया
आंटी-आआअहह….
मैं बूब चूस रहा था ऑर दूसरे बूब को हाथ से मसल रहा था…
आंटी-आआहह…..आअककचहाअ चूस्ता है…आआहह….कचूवस्ससस बेटा
मैं बूब्स चूस्ता रहा ऑर मसलता रहा ….आंटी भी मस्ती मे सिसकारी लेकर मज़ा ले रही थी…तभी आंटी बोली
आंटी-बेटा वो आअहह…रश्मि
मैं(रुकते हुए)-रश्मि ..क्या???
आंटी-वो आ गई तो
मैं-आंटी…मेरे रूम मे नही आ सकती…जब तक मैं ना बुलाऊ…ऑर आयगी भी तो बता के आएगी
आंटी-पर उसने देख लिया तो ..या…शक हो गया तो???
मैं-तो उसे भी चोद दूँगा….ओर ये कहकर मैने आंटी की गांद दबा दी
आंटी-आअहह….सच मे
मैं-आंटी अब टाइम बर्बाद मत करो ना…ऑर मज़ा लो
आंटी-तो रोका किसने है
ओर मैं आंटी के बूब्स दबाते हुए मज़ा लेने लगा……
आंटी के ऐसा कहते ही मैने आंटी को अपने सामने खड़ा किया ओर उनकी पैंटी भी पकड़ कर फाड़ दी
अब आंटी मेरे सामने पूरी नंगी थी….लेकिन कमाल की बात ये थी कि वो शरमा नही रही थी
आंटी ने अपने दोनो हाथ अपने सिर के पीछे रख लिए,…
फिर आंटी ने इतराते हुए पूछा…
आंटी-पसंद आया माल
मैं-ऐसा माल किस्मत वालो को मिलता है
मैने इतना बोल कर आंटी को अपनी तरफ खींचा ऑर पलटा कर उनकी गंद को देखने लगा
आंटी-आअहह…क्या कर रहा है
मैं-उस गंद को देख रहा हूँ…जो मुझे मारनी है
आंटी(खुलकर बात कर रही थी)- मस्त है ना
मैं-आंटी …आप इतनी बोल्ड होगी ये सोचा भी नही था…ऐसे खुल कर बोल रही हो
आंटी(पलटकर)-अभी कहाँ…देखते जाओ मेरे जलवे….कि मैं चीज़ क्या हूँ…हहेहीहे
मैने – सब देखुगा…मेरी रानी….अब आ भी जा…
आंटी-हाँ जल्दी करो….मुझे मेरा माल दिखाओ
मैने जल्दी से आंटी को बेड पर पटक दिया…वो बेड पर पैर नीचे किए हुए…डाली थी..ओर मैने उठ कर अपनी जकेट ऑर टी-शर्ट निकाली
ऑर आंटी के पैरो के पास आकर दोनो हाथो से उनके दोनो पैरो को पकड़ कर उपेर किया…
मेरे सामने आंटी की बिना बालों की चूत आ गई…जिसे देखकर मेरे मुँह मे पानी आ गया ओर लंड कड़क होने लगा
मैं-आंटी…क्या मस्त चिकनी चूत है आपकी
आंटी-तेरे लिए ही चिकनी की है बेटा…
मैं-खा जाउन्गा इसे तो…..ऑर मैने जीभ से चूत को चाट लिया
आंटी-आअहह…खा जाओ बेटा….खा जाओ
मैं मुँह आंटी की चूत पर रख कर चाट ने लगा ओर आंटी सिसकने लगी
सीन कुछ ऐसा था…
मैं-सस्स्ररुउउप्प…सस्ररुउउप्प्प…
आंटी-आअहह…आआहह्ा…आहहह
मैं-सस्स्ररुउउप्प्प…आआहह…आंटी मज़ा आया
आंटी-आअहह…हहाा…..कक्खहाअ ज्ज्ज्जाऊओ
मैने अचानक जीभ को नुकीला करके आंटी की चूत के अंदर डाल दिया
आंटी-आआहह…..उउउंम्म….
मैने जीभ से चूत को चोदना स्टार्ट किया ऑर आंटी मस्ती मे आके बड़बड़ाने लगी
आंटी-आअहह…ययययए कक्क्क्यय्य्ाआ…क्क्कीिईयय्य्ाआ
आऐईीससाअ तो संजू के पापा ने…भी नही…ककक्कीिईयय्याअ
…आअहह
मैने अपनी स्पीड बढ़ा दी ओर जीभ से चुदाई चालू रखी
आंटी-आआहह…..म्म्म्मा ज़्ज़्ज़ाआ…एयेए गयगगयययाअ….आआववववीिइ त्ताआक्कक कक्खाअ त्ततहाअ…….तततुउउ
मैने मज़े से चूत चुदाई करते हुए आंटी की बाते सुन रहा था
आंटी—आऐईीइसस्साअ……पता होता……त्त्त्तूओ…कककाब्ब का तेरे.प्प्पाआससस्स…एयाया ज्ज्जात्त्तीइ…आआआहह…उूुुउउम्म्म्मम…आहह…माआईयईईई
इतना बोलते ही आंटी झड गई ऑर मैं चूत रस पीने लगा जब मैने चूत रस पूरा पी लिया…..
चूत रस पी कर मैं खड़ा होकर आंटी को देख कर बोला
मैं-आंटी ….मज़ा आया????
आंटी-आअहह…मेरे राजा इतना मज़ा पहली बार आया
मैं-खुश हो ना
आंटी-हाँ बेटा,….आज पहली बार जीभ से चुदि हूँ…खुश कर दिया तूने तो
मैं-अभी तो शुरुआत है…आगे-2 देखते जाओ
आंटी-हां बेटा…जल्दी दिखा…चूस्ता ऐसा है तो आगे तो कमाल करेगा….अब जल्दी आजा बेटा
मैने भी टाइम ना लेते हुए अपनी पेंट ऑर अंडरवर निकाल दी ….मेरा लंड जो लगभग पूरा खड़ा हो गया था…जैसे ही आंटी ने देखा तो…
आंटी-ओह माइ गॉड….ये तो…सच मे…बड़ा..
मैं-तो आपने क्या समझा था
आंटी बैठ कर लंड को हाथ मे लेकर देखने लगी ऑर
आंटी-इतना बड़ा कैसे……क्या ख़ाता है तू
मैं-आंटी…आपको पसंद आया कि नही
आंटी-बताती हूँ..ऑर आंटी मेरे लंड को किस करके मुँह मे ले गई ऑर चूसने लगी….
आंटी-सस्स्स्सुउउउप्प्प…ऊओंम्म….उउउंम्म….सस्स्रर्र्र्र्रप्प्प्प
मैं-आआहह…आंटी….क्कक्या चूस्ति हो….ओर तेज,…हहाअ …ऐसे ही
आंटी-सस्स्स्र्र्ररुउउप्प्प…..ऊओंम्म….उउउंम्म…सस्स्रररुउउप्प
मैं-आअहह…..पक्की रंडी हो….ऑर तेज…मेरी रंडी…आअहह…
जब मुझे लगा कि मैं झड़ने वाला हूँ तो मैने आंटी के मुँह से लंड निकाल लिया
मेरे लंड निकलते ही आंटी का मुँह ऐसा हो गया जैसे भूके से रोटी छीन ली हो…उनकी हालत देख कर मेरी हँसी निकल गई
आंटी-एयेए…क्या हुआ…
मैं-आंटी अब आपके उपर के होंठो का काम ख़तम ऑर नीचे वाले होंठो का काम स्टार्ट…
इतना कहकर मैने आंटी के पैरो को पकड़ कर उन्हे लिटा दिया…ऑर बिना कुछ बोले…लंड को चूत पर सेट करने लगा…